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रेलवे की नई टेक्नोलॉजी करेगी यात्रियों के सामान को कोरोना मुक्त

Author : Kavita Singh Rathore

राज एक्सप्रेस। देश में कोरोना के चलते बने हालातों के कारण हमें खुद के साथ ही अपने सामान को भी सेनेटाइज करना पड़ता है। इन्हीं बातो का ध्यान रखते हुए अब रेलवे अब एक नई टेक्नोलॉजी लाने की तैयारी में है। जिसके तहत रेलवे द्वारा स्टेशनों पर यात्रियों के सामान को भी कोरोना वायरस से बचाया जाएगा जिससे संक्रमण फैलने से रोका जा सके। बता दें, हाल ही में रेलवे ने यात्रियों के लिए स्टेशनों पर आटोमैटिक थर्मल स्कैनर की सुविधा भी मुहैया करवाई थी।

क्या है रेलवे की नई टेक्नोलॉजी :

रेलवे की नई टेक्नोलॉजी के तहत यात्रियों के सामान जैसे- बैग आदि को कोरोना वायरस से मुक्त करने के लिए उसे अल्ट्रावायलेट बाथ से प्रोटेक्ट करने वाले स्कैनर से होते हुए गुजारा जाएगा। इस प्रोटेक्ट से गुजरते ही यात्रियों के सामान पर अल्ट्रावायलेट किरणें पड़ेंगी और वायरस नष्ट हो जाएगा। हालांकि, यह सभी यात्रियों के लिए नहीं है जो यात्री अपने सामान को सेनेटाइज करवाना चाहता है वो, इस सुविधा का लाभ ले सकता है।

देना होगा शुल्क :

बताते चलें, यात्रियों को इस सुविधा का लाभ लेने के लिए मामूली शुल्क का भुगतान करना होगा। बताते चलें, रेलवे हमेशा से ही अपने यात्रियों का कोरोना से बचाव करने हेतु नई-नई टेक्नोलॉजी लेकर आती रही है। बीते दिनों पहले रेलवे ने अपने ग्राहकों के लिए विशेष कोच की पेशकश भी की थी। रेलवे द्वारा पहले ट्रेनों के एसी कोच को कोरोना मुक्त बनाया उसके बाद कोचों में आपरेशन थिएटर जैसी व्यवस्था तैयार की है। रेलवे स्टेशनों पर सेनेटाइजर, थर्मल स्क्रीनिंग की व्यवस्था देश में कोरोना की शुरुआत के समय ही कर दी गई थी। बता दें, रेलवे ने यात्रियों के सामान को सेंटेज करने की सुविधा एयरपोर्ट पर मिलने वाली सुविधा की तर्ज पर पेश की है।

कोरोना सेफ्टी मिशन :

बताते चलें, भारतीय रेलवे द्वारा एक कोरोना सेफ्टी मिशन लांच किया गया है। जिसके तहत रेलवे यात्रियों की सुरक्षा के लिए स्टेशन पर यूवी बैग बाथ (यूवी रे) उपकरण, आटोमैटिक थर्मल स्कैनर, सेनेटाइजिंग मशीन जैसी कई सुविधाएं मुहैया करवाई है। इन नई यूवी रे स्कैनर टेक्नोलॉजी से के माध्यम से यात्रियों के बैग सेनेटाइज करने के साथ ही बैग के अंदर रखे सामान की जांच भी हो जाएगी।

सबसे पहले भोपालवासियों को मिलेगा लाभ :

बताते चलें, इस सुविधा का लभग सबसे पहले भोपाल के लोग ले सकेंगे क्योंकि, भोपाल डिविजन ने इस प्लान पर काम करना शुरू कर दिया गया है। बोर्ड की मंजूरी के बाद बजट स्वीकृत होते ही पहले चरण में डिवीजन के बड़े स्टेशनों में लगेंगे। इनमें भोपाल, हबीबगंज, इटारसी और होशंगाबाद शामिल हैं।

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