Alok Khare Disproportionate Assets Case Update
Alok Khare Disproportionate Assets Case Update  Raj Express
मध्य प्रदेश

आलोक खरे आय से अधिक संपत्ति मामले में 4 साल बाद अभियोजन स्वीकृति देने आबकारी आयुक्त को लिखा पत्र

Deeksha Nandini

हाइलाइट्स

  • सचिव दीपाली रस्तोगी अभियोजन स्वीकृति देने के लिए आबकारी-आयुक्त को लिखा पत्र।

  • लोकायुक्त आलोक खरे के खिलाफ न्यायालय में भ्रष्टाचार अधिनियम के तहत चालान कर सकेगी पेश।

  • आबकारी आयुक्त आलोक कुमार खरे के 7 ठिकानों पर 4 साल पहले हुई थी छापेमारी।

  • फल बेचने ले जाने वाले ट्रकों के नंबरों की जांच करने के बाद वे ऑटो के नंबर निकले।

Alok Khare Disproportionate Assets Case Update : भोपाल, मध्यप्रदेश। आबकारी अधिकारी आलोक खरे के घर 4 साल पहले आय से अधिक संपत्ति मामले को लेकर लोकायुक्त द्वारा छापेमारी की कार्रवाई की गई थी। जिसमें लोकायुक्त ने पत्र लिखकर राज्य सरकार से अभियोजन की मंजूरी मांगी है जिसके बाद वाणिज्यिक कर विभाग की प्रमुख सचिव दीपाली रस्तोगी ने आलोक खरे की अभियोजन स्वीकृति देने के लिए आबकारी आयुक्त ओपी श्रीवास्तव को पत्र लिखा है। बता दें, अभियोजन स्वीकृति मिलने के बाद लोकायुक्त आलोक खरे के खिलाफ न्यायालय में भ्रष्टाचार अधिनियम के तहत चालान पेश करेगा।

आलोक खरे के 7 ठिकानों पर पड़ी थी रेड :

मध्यप्रदेश लोकायुक्त पुलिस ने 4 साल पहले साल 2019 में सहायक आबकारी आयुक्त आलोक कुमार खरे के 7 ठिकानों भोपाल में 2, इंदौर में 2, रायसेन में 2 और छतरपुर में 1 जगह पर एक साथ छापेमारी की थी, जिसमें नगदी समेत 150 करोड़ से ज़्यादा की बेनामी संपत्ति का खुलासा हुआ था। दरअसल सहायक आबकारी आयुक्त आलोक कुमार खरे के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति होने की शिकायत की गई थी जिसके बाद लोकायुक्त द्वारा ये कार्रवाई की गई। आलोक खरे सहायक आबकारी आयुक्त है, लेकिन आबकारी आयुक्त ने उन्हें रीवा जिला आबकारी आयुक्त का प्रभार सौंप रखा है।

प्रारंभिक जांच में बड़ा खुलासा :

लोकायुक्त पुलिस की प्रारंभिक जांच में करीब 100 करोड़ से ज्यादा की संपति होने की बात सामने आई थी। जिसमें इंदौर के पॉश इलाके में एक पेंट हाउस और एक बंगले के साथ यहां से 3 किलो सोना मिलने की भी खबर थी। इंदौर के जिस फ्लैट में आलोक खरे रहते थे, उस पर ताला था, लोकायुक्त की टीम ने ताले पर भी सील किया था।

ट्रकों की नंबर प्लेट ऑटो के निकले

लोकायुक्त पुलिस की जांच में भोपाल के चूनाभट्टी और बाग मुगालिया में 2 बड़े बंगले और कोलार में फॉर्म हाउस की जमीन के दस्तावेज मिले थे। इसके अलावा रायसेन में 2 फॉर्म हाउस का भी खुलासा हुआ। जबकि खरे ने अपनी पत्नी के इनकम टैक्स रिटर्न में रायसेन में फलों की खेती से आय होना बताया था और ये फल दिल्ली में बेचना बताए जा रहे थे। इसके साथ ही दस्तावेजों की जांच के बाद जिन ट्रकों से फल दिल्ली भेजना बताए गए हैं, उनके नंबरों की जांच करने के बाद वे ऑटो के नंबर निकले।

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