कलेक्टर और जिपं सीईओ पर भारी, सतीश तिवारी
कलेक्टर और जिपं सीईओ पर भारी, सतीश तिवारी Sitaram Patel
मध्य प्रदेश

Anuppur : कलेक्टर और जिपं सीईओ पर भारी, सतीश तिवारी

Shrisitaram Patel

प्रशासनिक दृष्टिकोण से योग्य और पात्र अधिकारियों का चयन कर जनपद सीईओ के पद पर बैठाया जाता है, लेकिन जब अपात्र कर्मचारी कृपा पात्र से ऐसे पदो पर बतौर अधिकारी विराजमान होते हैं तो अपने आप को जिला पंचायत सीईओ ही नहीं बल्कि कलेक्टर के पॉवर को भी अपने जेब में रख लेते हैं और फिर मनमाना आदेश जारी कर देते हैं। यह पहला मौका नहीं है जब अधिकार क्षेत्र से बाहर हटकर इनके द्वारा कार्य किया गया हो, सीईओ सतीश तिवारी के पदभार से लेकर ऐसे अनेक कार्य है जिनमें खुद का नियम चलाते दिखे हैं।

अनूपपुर, मध्यप्रदेश। जनपद पंचायत जैतहरी निम्न स्तर की प्रशासनिक कार्यप्रणाली का एक हिस्सा है। पहले मंडल संयोजक सतीश तिवारी को मुख्य कार्यपालन अधिकारी का प्रभार दिया गया फिर अपात्र होते हुए भी कोषालय का आहरण संवितरण अधिकार भी दे दिया गया। एक जनपद नहीं बल्कि कुछ दिनों के लिए कोतमा फिर जनपद पंचायत जैतहरी में प्रभारी बना दिया। मंत्री के चरण वंदना के बाद मंडल सयोजक से सीईओ बने सतीश तिवारी ने कलेक्टर सुश्री सोनिया मीणा और जिपं सीईओ हर्षल पंचोली के ही अधिकार 1 फरवरी 2022 को छीन लिया। जब उन्हे ज्ञान प्राप्त हुआ कि किसी भी सचिव का सचवीय अधिकार समाप्त करने का पॉवर उनके पास नहीं है तो उन्होने 4 फरवरी को अपने ही आदेश को निरस्त करते हुए सचिव को पुन: पद पर कार्य करने के आदेश जारी कर दिया।

ऐसे किया सचिव का अधिकार समाप्त :

सीईओ सतीष तिवारी के द्वारा 1 फरवरी 2022 को आदेश जारी करते हुए उल्लेख किया कि ग्राम पंचायत मौहरी के ग्रामीण जनों के द्वारा 23 जनवरी 2022 को खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण बिसाहूलाल सिंह को समक्ष की गई शिकायत एवं मंत्री महोदय के निर्देश कार्यालय जिला पंचायत अनूपपुर के आदेश क्र0/ 3599/ जि.पं./ पं. प्र.को./2022 दिनांक 27/01/2022 द्वारा गठित जाँच समिति, लगातार अखबारों में छप रही खबरों, सी.एम. हेल्पलाइन में कार्यों की गुणवत्ता को लेकर दर्ज शिकायतों दूरभाष पर नंद किशोर मिश्रा के घर से गेंदलाल के घर तक बन रही सी.सी. रोड मनरेगा कंवर्जेन्स से बनाई जा रही है, जिसकी एमबी मनरेगा से जारी की गई है, जिसमें किसी के हस्ताक्षर नहीं है। सीसी रोड गुणवत्तापूर्ण कार्य न कराये जाने की प्राप्त शिकायत पर तत्काल कार्य रोकने के निर्देश दिये जाने के बाद भी कार्य बंद न कराये जाने, स्व-सहायता समूह के द्वारा संचालित नर्सरी के लिये आवश्यकता से अधिक आरसीसी पोल क्रय करने एवं भुगतान कराने के कारण रामजी राठौर सचिव ग्राम पंचायत मौहरी के सचिवीय अधिकार जाँच पूरी होकर प्रतिवेदन प्राप्त होने और निर्दोष पाये जाने तक के लिए समाप्त किये जाकर उन्हें आगामी आदेश पर्यन्त तक के लिये कार्यालय जनपद पंचायत जैतहरी में संलग्न किया जाता है। यह आदेश तत्काल प्रभावशील होगा।

फिर कर दिया निरस्त :

मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत जैतहरी सतीश तिवारी के द्वारा 4 फरवरी को पुन: पत्र जारी करते हुए ग्राम पंचायत मौहरी के सचिव रामजी राठौर का सचिवीय अधिकार समाप्ति के आदेश को निरस्त करते हुए पद पर कार्य करने की अनुमति दे दी, लेकिन दोनो ही पत्र में यह आदेश तत्काल प्रभावशील होगा का उल्लेख सीईओ जनपद जैतहरी ने जरूर किया है और प्रतिलिपि में कलेक्टर सीईओ, एसडीएम और सचिव की ओर प्रेषित किया है, उसके बावजूद भी किसी ने भी इस विसंगतिपूर्ण आदेश पर रोक नहीं लगाई। इसके पहले भी दुधमनिया के रोजगार सहायक को सचिव का प्रभार दे दिया गया था, जबकि उनके अधिकार क्षेत्र में नहीं है और न ही रोजगार सहायक को दिया जाना चाहिए था।

जिपं सीईओ ने दिये नोटिस :

अधिकार क्षेत्र से बाहर जाकर सीईओ सतीश तिवारी के आदेश की जानकारी जब जिला पंचायत सीईओ हर्षल पंचोली को लगी तो उन्होने जनपद पंचायत जैतहरी के सीईओ को कारण बताओं नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। गौरतलब हो कि इस विसंगतिपूर्ण आदेश और मनमाना कार्य के लिए उनके ऊपर कार्यवाही भी की जा सकती है। जबकि बीते दिनो कलेक्टर सुश्री सोनिया मीणा ने कारण बाताओ नोटिस जारी किया था, उसके बावजूद भी सुधरने का नाम नहीं ले रहे है।

इनका कहना है :

जनपद सीईओ को यह अधिकार नहीं है, आदेश निरस्त हो चुका है। आज ही मेरे द्वारा कारण बाताओ नोटिस जारी कर जवाब मांगा गया है, दोषी पाए जाने पर कार्यवाही अवश्य की जाएगी।
हर्षल पंचोली, सीईओ, जिला पंचायत अनूपपुर

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