राज एक्सप्रेस। मध्यप्रदेश के शहडोल जिले में परिवहन विभाग के प्रमुख सचिव के अनुमोदन से सूबे के सभी जिलों के संभागायुक्त और कलेक्टर को पत्र भेजकर कहा है कि परिवहन विभाग प्रदेश को राजस्व देने वाले अहम विभागों में शामिल है। 31 मार्च 2020 तक दिये गये लक्ष्य की प्राप्ति करना अनिवार्य है, टारगेट पूरा करने के लिए विभाग के अधिकारी और कर्मचारियों का अहम योगदान रहता है। विभागीय अधिकारियों ने यह भी माना कि दूसरे कार्य में संलग्न रहने के चलते जिस हिसाब से पिछले वित्तीय वर्ष में राजस्व हासिल हुआ था, उसमें कठिनाईयों का सामना देखने को मिल रहा है, अगर अधिकारियों और कर्मचारियों को जिला प्रशासन द्वारा अन्य कार्यो में शामिल कराया जाता है, तो लक्ष्य की पूर्ति तय समय-सीमा में नहीं हो सकती। जिसके चलते विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों को वित्तीय वर्ष के समाप्त होने तक अलग किया जाये।
ऑटो मोबाइल सेक्टर में मंदी का असर :
देश में ऑटो मोबाइल सेक्टर में छायी मंदी का असर प्रदेश के परिवहन विभाग में भी देखने को मिल रहा है, प्रदेश सरकार को राजस्व की चिंता है, जिसके चलते समय रहते वह कड़े कदम उठा रही है, ऑटो मोबाइल सेक्टर में मंदी के चलते क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय में अभी तक की स्थिति में बड़े वाहनों में 70 प्रतिशत तक का पंजीयन कम हुआ है, वहीं वाहनों के पंजीयन से मोटी रकम विभाग को मिल जाती थी, इस बार भी इसका असर सीधे तौर पर कार्यालय पर दिखता नजर आ रहा है।
15 करोड़ से अधिक बढ़ा दिया टारगेट :
वित्तीय वर्ष 2018-19 में क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय को 45 करोड़ 70लाख रूपये का राजस्व वसूली का लक्ष्य दिया गया था, जिसे विभाग ने वसूल करते हुए प्रदेश के टॉप-10 जिलों में अपनी जगह बनाई थी, लेकिन वित्तीय वर्ष 2019-20 में परिवहन विभाग ने कार्यालय को 61 करोड़ 53 लाख रूपये का टारगेट दे दिया, जो कि पिछले वित्तीय वर्ष से 15 करोड़ 83 लाख रूपये अधिक है। वहीं मंदी की मार झेल रहे ऑटो मोबाइल सेक्टर का भी असर पड़ता नजर आ रहा है, शेष बचे हुए 4 महिनों में अधिकारियों और कर्मचारियों को कड़ी मेहनत करनी पड़ेगी, तब ही लक्ष्य को हासिल किया जा सकता है।
4 माह शेष, 31 करोड़ का लक्ष्य :
1 अप्रैल से लेकर 20 नवम्बर तक क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय ने इन 8 माहों में जिसमें 10 दिन अभी शेष हैं, 30 करोड़ रूपये के आस-पास की रकम वसूल की है। दिसम्बर, जनवरी, फरवरी और 31 मार्च तक परिवहन विभाग को मुख्यालय के द्वारा दिये गये टारगेट को पूरा करने के लिए 31 करोड़ 53 लाख रूपये की आवश्यकता है। प्रदेश सरकार ने इस वर्ष ही बकायादारों को छूट स्कीम भी लागू की है, जिसका असर भी टारगेट पर पड़ रहा है, वहीं कई ऐसी महत्वाकांक्षी योजना कांग्रेस सरकार ने लागू की है, जिससे परिवहन विभाग से जुड़े लोगों को फायदा हो रहा है।
विभाग ने ड्राइविंग लायसेंस वितरण की यो़जना की शुरू :
जैसे 8 साल तक के वाहनों को फिटनेस उसी फीस पर 2 वर्ष तक के लिए, नये व्यवसायिक वाहनों को 2 वर्ष तक फिटनेस प्रमाण पत्र पर छूट दी गई है। इतना ही नहीं वर्षों पुराने टैक्स को भी माफ किया गया है, महिलाओं और युवतियों को शिविर लगाकर ड्राइविंग लायसेंस वितरण करने की योजना शुरू की गई है, जिसका असर कार्यालय से जुड़े व्यवसायियों और आम नागरिकों को हो रहा है, लेकिन टारगेट पूरा करना भी विभाग के लिए चुनौती है।
'टारगेट को पूरा करने के लिए हर संभव प्रयास किया जा रहा है, वरिष्ठअधिकारियों के मार्गदर्शन में लगातार राजस्व वसूल करने की कार्यवाहियां चल रही हैं। उड़न दस्ता न होने पर भी जांच की जा रही है, सभी के मार्गदर्शन में राजस्व की वसूली के लक्ष्य को प्राप्त करने की हर संभव कोशिश होगी कि, फिर से कार्यालय का नाम प्रदेश की सूची में ज्यादा राजस्व हासिल करने वाले जिले और क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय में शामिल हो सके।'आशुतोष भदौरिया, क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, शहडोल
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