2011 विश्व कप, क्या टॉस ने हराया श्रीलंका को, संगकारा ने बताया सच
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2011 विश्व कप, क्या टॉस ने हराया श्रीलंका को, संगकारा ने बताया सच

Ankit Dubey

राज एक्सप्रेस। साल 2011 का वह ऐतिहासिक पल सभी को याद होगा जब भारत ने श्रीलंका पर जीत हासिल कर विश्व कप पर कब्जा किया था। उस मैच के दौरान कई विवाद भी घटे साथ ही टीम के कप्तान कुमार संगाकारा (Kumar Sangakkara) द्वारा टॉस पर भी असमंजस नजर आया था। इन्हीं मुद्दों को लेकर कल श्रीलंका के पूर्व कप्तान कुमार संगाकारा (Kumar Sangakkara) ने भारत के पूर्व स्पिनर रविचंद्रन अश्विन से चर्चा की यह दोनों खिलाड़ी इंस्टाग्राम पर लाइव चैट के दौरान बात कर रहे थे।

कुमार संगकारा ने बताया क्या था टॉस का मामला

श्रीलंका टीम के पूर्व कप्तान कुमार संगाकारा (Kumar Sangakkara) ने बताया कि इस मैच के दौरान दर्शकों की भीड़ काफी थी। श्रीलंका में ऐसा कभी नहीं होता। एक बार कोलकाता के ईडन गार्डन मैदान पर ऐसा जरूर हुआ, मैं उस वक्त में अपने साथी स्लिप पर खड़े खिलाड़ी से भी बात नहीं कर पा रहा था, जिसके बाद 2011 विश्व कप वानखेड़े में हुआ, मुझे याद है मैंने टॉस के लिए कहा था और इसके बाद धोनी भी असमंजस में थे और उन्होंने मुझसे पूछा तुमने 'टेल' कहा और मैंने कहा था कि नहीं मैंने 'हेड' कहा।

कुमार संगाकारा (Kumar Sangakkara) ने आगे बताया कि मैच रेफरी ने वास्तव में कहा था कि मैंने टॉस जीत लिया है, लेकिन माही ने कहा कि ऐसा नहीं है, वहां थोड़ा भ्रम पैदा हो गया। जिसके बाद धोनी ने फिर से टॉस करने को कहा, दूसरी बार भी हेड आ गया, मुझे नहीं पता कि यह मेरी किस्मत थी, लेकिन मैं टॉस जीत गया और मुझे लगता है कि अगर भारत भी टॉस जीत जाता तो बल्लेबाजी का फैसला करता।

कप्तान संगकारा ने हार की वजह भी बताई

साल 2011 में मिली हार कुमार संगाकारा (Kumar Sangakkara) के लिए काफी बड़ी हार थी। विश्वकप हारना किसी भी कप्तान के लिए बड़ा दुखद होता है।

उन्होंने हार की वजह बताते हुए कहा कि विश्व कप फाइनल जैसे बड़े मुकाबले में टीम के बड़े खिलाड़ी का चोटिल हो जाना काफी खराब रहा। उन हालातों में एंजेलो मैथ्यूज का समय चोटिल हो जाना, श्रीलंकन टीम को काफी महंगा साबित हुआ।

एंजेलो मैथ्यूज वही खिलाड़ी थे, जिन्होंने सेमीफाइनल में न्यूजीलैंड के खिलाफ खेलते हुए बड़ी भूमिका निभाई थी। उन्हें फाइनल में मांसपेशियों के खिंचाव की वजह से टीम से बाहर होना पड़ा था।

कुमार संगाकारा (Kumar Sangakkara) ने कहा कि जब मैं पीछे मुड़कर देखता हूं तो उस विश्व कप में मुझे यही सबसे बड़ी बात नजर आती है, आप कैच छूटने या अन्य बातें कर सकते हैं, लेकिन टीम का कॉम्बिनेशन सबसे जरूरी होता है, हमें उस समय बदलाव करने पर मजबूर होना पड़ा था।

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