Antibody drug emergency use approved for corona in us
Antibody drug emergency use approved for corona in us Syed Dabeer Hussain - RE
दुनिया

ट्रंप के संक्रमित होने पर दी गई एंटीबॉडी को इमरजेंसी इस्तेमाल की मंजूरी

Author : Kavita Singh Rathore

अमेरिका। आज पूरी दुनियाभर के देश कोरोना की चपेट में बुरी तरह आ चुके है। इन देशों में भी अमेरिका का नंबर पहले स्थान पर है। अमेरिका में कोरोना के इलाज के लिए कई तरह की दवाईयां और एंटीबॉडी का इस्तेमाल किया जा रहा है। पिछले महीने में जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप भी कोरोना से संक्रमित हुए थे। उनके इलाज के लिए जिस एंटीबॉडी दवा का का इस्तेमाल किया गया था, अमेरिका में उसके इमरजेंसी इस्तेमाल के लिए मंजूरी दे दी गई है।

एंटीबॉडी के इमरजेंसी इस्तेमाल के लिए मंजूरी :

दरअसल, अमेरिका में कोरोना संक्रमित मरीजों के इलाज के लिए रेजेनरॉन या रेजेन-कोव2 नामक एंटीबॉडी एक दवा का इस्तेमाल किया जाता है। इसी एंटीबॉडी दवा का इस्तेमाल अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का कोरोना का इलाज करने के लिए किया गया था। खबरों के अनुसार, यह एंटीबॉडी दवा कोरोना में इमरजेंसी में मदद करती है। अमेरिका में इसके इमरजेंसी इस्तेमाल के लिए मंजूरी दे दी गई है। हालांकि, यह पहली बार नहीं है कि, अमेरिका में किस दवाई को कोरोना के इलाज के लिए मंजूरी दी गई हो। इससे पहले भी एक और दवाई को इमरजेंसी इस्तेमाल के लिए मंजूरी दी गई थी। कोरोना के संक्रमण से बाहर निकलने के बाद ट्रंप ने स्वयं कहा था कि, 'इस दवा से उनके ठीक होने की संभावना अधिक हुई थी।'

FDA दवारा एंटबॉडी दवा मंजूरी :

बताते चलें, स्वास्थ्य अधिकारियों द्वारा अमेरिका में कोविड-19 के इलाज में रेजेनरॉन या रेजेन-कोव2 नामक एंटीबॉडी का इस्तेमाल किया जाता रहा है। यह एक प्रतिरोधक प्रणाली में मदद करने वाली एक एंटबॉडी दवा है। जिसे खाद्य एवं औषधि प्रशासन (FDA) ने रेजेनेरॉन फार्मास्यूटिकल्स इंक ने अमेरिका में इमरजेंसी इस्तेमाल के लिए मंजूरी दी गई है। यानि मरीज में कोरोना के हल्के और मध्यम लक्षणों के पाए जाने पर इस एंटीबॉडी दवा का इस्तेमाल किया जाएगा।

लगातार अध्ययन जारी :

बताते चलें, अमेरिका में इस एंटबॉडी दवा को मंजूरी इस मकसद से दी गई है कि, यदि कोई मरीज हल्के कोरोना लक्षण वाला होगा तो उसे अस्पताल में भर्ती होने या फिर उनकी हालत बिगड़ने से बचाया जा सकेगा। FDA ने इस दवाई का इस्तेमाल व्यस्क एवं 12 साल के बच्चों या उससे ज्यादा उम्र के उन लोगों पर करने की अनुमति दी है। इसे देने के लिए मरीज का वजन कम से कम 40 किलोग्राम होना अनिवार्य है। हालांकि, अब भी इस दवा की सुरक्षा और प्रभावशीलता का पता लगाने के लिए लगातार अध्ययन जारी है। अब तक हुए अदीना के परिणामों से यह बात सामने आई है कि, यह दवाई कोविड-19 की वजह से अस्पताल में भर्ती होने या गंभीर खतरे वाले मरीजों के आपात कक्ष में भर्ती पर रोक लगा सकती है।

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