Vodafone अपनी कुछ हिस्सेदारी Indus Towers में बेचने पर मजबूर
Vodafone अपनी कुछ हिस्सेदारी Indus Towers में बेचने पर मजबूर Syed Dabeer Hussain - RE

Vodafone अपनी कुछ हिस्सेदारी Indus Towers में बेचने पर मजबूर, चल रही Airtel से बात

टेलिकॉम कंपनी वोडाफोन आइडिया (VI) पिछले काफी समय से घाटे का सामना कर रही है। अब हालात यह हो चुके हैं कि, ब्रिटिश की टेलिकॉम कंपनी Vodafone अपनी कुछ प्रतिशत हिस्सेदारी बेचने का मन बना रही है।

राज एक्सप्रेस। पिछले सालों के दौरान भारत की टेलिकॉम कंपनियों को AGR की रकम जमा करने के आदेश दिए थे। जिसके चलते कई टेलिकॉम कंपनियों को आर्थिक मंदी का सामना करना पड़ रहा है। इसी के चलते भारत की तीसरी सबसे बड़ी टेलिकॉम कंपनी वोडाफोन आइडिया (VI) पिछले काफी समय से घाटे का सामना कर रही है। अब हालात यह हो चुके हैं कि, ब्रिटिश की टेलिकॉम कंपनी Vodafone अपनी कुछ प्रतिशत हिस्सेदारी बेचने का मन बना रही है।

Vodafone अपनी हिस्सेदारी बेचने पर मजबूर :

दरअसल, ब्रिटिश टेलिकॉम कंपनी वोडाफोन (Vodafone) काफी समय से उठा रहे नुकसान के चलते इंडस टावर्स (Indus Towers Limited) में अपनी लगभग 5% हिस्सेदारी बेचने के लिए देश की दूसरी सबसे बड़ी टेलिकॉम कंपनी भारती एयरटेल (Bharti Airtel) के साथ बात कर रही है। यदि ऐसा होता है तो, दोनों कंपनियों का कनेक्शन आपस में जुड़ जाएगा। इस मामले में एक दूरसंचार उद्योग से जुड़े अधिकारी ने बुधवार को जानकारी दी है कि, दोनों कंपनियों के बीच इस तरह की डील हो सकती। जबकि, Vodafone कंपनी की तरफ से इस बारे में कोई जानकारी नहीं दी गई है।

वर्तमान समय में हिस्सेदारी :

जानकारी के लिए बता दें, वोडाफोन के पास वर्तमान समय में इंडस टावर्स में फिलहाल 28% हिस्सेदारी है। खबरों की मानें तो, Vodafone 3,300 करोड़ रुपये मूल्य वाली कंपनी इंडस टावर्स में अपनी 5% हिस्सेदारी बेचने के लिए Airtel के संपर्क में है। प्राप्त जानकारी केअनुसार, इस बिक्री से Vodafone को मिलने वाली राशि उसकी भारतीय इकाई वोडाफोन आइडिया लिमिटेड (Vodafone Idea Limited) को दी जाएगी। बता दें, इंडस टावर्स लिमिटेड (Indus Towers Limited) को लोग पहले भारती इन्फ्राटेल लिमिटेड के नाम से जानते थे।

इंडस टावर्स लिमिटेड का काम :

बताते चलें, इंडस टावर्स लिमिटेड कंपनी का मुख्य काम दूरसंचार के टावर खड़ा करना, उनके स्वामित्व एवं प्रबंधन का काम करना है। इस तरह कंपनी मोबाइल ऑपरेटरों के लिए संचार संरचना प्रदान करने का कार्य करती है। कंपनी के पास 1,84,748 दूरसंचार टावर हैं और उसकी देश के सभी 22 दूरसंचार सर्किल में मौजूदगी है।

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