हमें समझना होगा, इलेक्ट्रिकल वेहिकल ऑटो उद्योग के लिए एकमात्र समाधान नहीं : सुजुकी

सुजुकी मोटर के अध्यक्ष तोशीहिरो सुजुकी भविष्य के व्यावहारिक विकल्प के रूप में मिनी ईवी विकसित करने की कंपनी की सामर्थ्य को लेकर उत्साहित हैं।
Toshihiro Suzuki, President of Suzuki Motor Corporation, Japan
Toshihiro Suzuki, President of Suzuki Motor Corporation, Japan Raj Express

हाईलाइट्स

  • सूजुकी के लिए भारत के बाद अफ्रीका बनेगा अगला ग्रोथ पिलर

  • अफ्रीका में टोयोटा के साथ साझेदारी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी

  • सुजुकी की दूसरी प्राथमिकता सुजुकी स्मार्ट फैक्ट्री के निर्माण की है

राज एक्सप्रेस । सुजुकी मोटर कॉर्पोरेशन, जापान के अध्यक्ष तोशीहिरो सुजुकी भविष्य के लिहाज से एक व्यावहारिक विकल्प के रूप में मिनी ईवी विकसित करने की अपनी कंपनी की क्षमताओं को लेकर बेहद उत्साहित हैं। उन्होंने कहा कि इलेक्ट्रिक वेहिकल आटो उद्योग के लिए एकमात्र समाधान नहीं है। मुख्य बात गतिशील समाधान विकसित करना है, जिसका उपयोग विशेष स्थानों और स्थितियों में किया जा सकता है। तोशीहिरो सूजुकी इस बात को लेकर भी बहुत आश्वस्त हैं कि सूजुकी के लिए भारत के बाद अफ्रीका अगला ग्रोथ पिलर बनने जा रहा है, जहां टोयोटा के साथ साझेदारी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।

सुजुकी मोटर कॉर्पोरेशन के प्रतिनिधि निदेशक और अध्यक्ष तोशीहिरो सुजुकी पूरी तरह से आश्वस्त नहीं हैं कि सतत विकास लक्ष्यों को हासिल करने के लिहाज से ऑटो उद्योग के लिए इलेक्ट्रिक वेहिकल जादू की छड़ी है या नहीं। हाल ही में वैश्विक वेबसाइट पर डाली गई कंपनी की सस्टेनेबिलिटी रिपोर्ट 2023 में उन्होंने कहा है कि विश्व स्तर पर भविष्य के ऑटोमोबाइल बाजार को देखते हुए, मुझे संदेह है कि ईवी ही इसका एकमात्र विकल्प है। उन्होंने कहा कि पूरी दुनिया में कुल वाहनों की संख्या लगभग 1.5 अरब है। ऐसे में हमें यह सुनिश्चित करने की जरूरत है कि क्या इतनी गाड़ियों के लिए पर्याप्त बैटरी की आपूर्ति करना संभव है।

इसके अलावा चुनौती यह भी है कि क्या इतने वाहनों के लिए पर्याप्त चार्जिंग स्टेशन स्थापित किए जा सकते हैं। इसके साथ ही बैटरी के वजन में वृद्धि से सड़क के बुनियादी ढांचे और बहुमंजिला पार्किंग स्थलों पर क्या प्रभाव पड़ेगा यह भी समझने की जरूरत है। कंपनी के चेयरमैन के अनुसार, सही जगह और सही समय के महत्व का शाब्दिक अर्थ है कि बिजली, हाइड्रोजन और कार्बन तटस्थ ईंधन और सभी का एक स्थान और विधि है जो उनके लिए उपयुक्त है। नतीजतन, मुख्य चुनौती गतिशीलता समाधान विकसित करने को लेकर है, जिसका उपयोग विशेष स्थानों और स्थितियों में किया जा सके। उन्होंने कहा कि मैं व्यक्तिगत रूप से मानता हूं कि छोटे वाहन ईवी के लिए सर्वोत्तम हैं।

जापान में प्रति वाहन यात्रियों की औसत संख्या 1.7 है और ड्राइविंग की दूरियां भी कम है, इस लिए मेरा मानना ​​​​है कि एक बेहतर मिनी ईवी का विकास बेहद जरूरी है। उन्होंने कहा मुझे पूरा विश्वास है कि छोटी कारों के विकास में कंपनी की विशेषज्ञता, इसे वास्तविकता बनाने में सफल होगी। मेरा मानना है कि ईवी के विकास में वैश्विक स्तर पर भारत सुजुकी मोटर के सबसे बड़े बाजार के रूप में एक बड़ी भूमिका निभाएगा। सूजुकी की भारतीय कंपनी मारुति सुजुकी, बाजार में अग्रणी बनी हुई है। हालांकि, हाल के दिनों में उसके छोटी कार व्यवसाय में बढ़त में कमी देखने को मिली है। जिसकी भरपाई एसयूवी की हिस्सेदारी में बढ़ोतरी से हुई है।

भारत की रणनीति अब टोयोटा मोटर कॉर्पोरेशन के साथ वैश्विक गठबंधन पर आधारित है, जिसकी घोषणा पहली बार छह साल पहले की गई थी। तब से यह और मजबूत हो गई है। दोनों कंपनियां अब स्वच्छ ईंधन विकल्पों पर नजर रखते हुए संयुक्त उत्पाद विकास में लगी हैं। इसके साथ ही टोयोटा सुजुकी को भारत से परे वैश्विक बाजारों तक पहुंचने में सहायता कर रही है। तोशीहिरो सुजुकी ने सस्टेनेबिलिटी रिपोर्ट 2023 में बताया है कि हमारा लक्ष्य भारत में विकसित बिजनेस मॉडल और उत्पाद विकास से जुड़ी जानकारी की मदद से अफ्रीका में अपना कारोबारी विस्तार पर केंद्रित है। उन्होंने कहा अफ़्रीकी देशों की जनसंख्या हमें भविष्य में अपने विकास की दृष्टि से बड़ी संभावनाएं पैदा करती है।

फिलहाल, कंपनी भारत को अपने उत्पादन आधार के रूप में उपयोग करेगी और टोयोटा के साथ मिलकर काम करते हुए अफ्रीका के क्षेत्रों की जरूरतों को यहीं से पूरा करने का प्रयास करेगी। उन्होंने कहा कि हमारा जोर अफ्रीका पर ध्यान केंद्रित करने पर है। हम इसे भारतीय बाजार के बाद अपना अगला आधार स्थल बनाने का प्रयास कर रहे हैं। हम अगले दिनों में इस योजना को आगे बढ़ाने के अभियान के तहत भारत के कुशल कर्मियों को अफ्रीका भेजेंगे। तोशीहिरो सुजुकी ने कहा कि हमारी दूसरी प्राथमिकता सुजुकी की स्मार्ट फैक्ट्री के निर्माण की है। तोशीहिरो सुजुकी बताते हैं कि विचार उत्पादन संरचना में नवाचार पर ध्यान केंद्रित करना है।

उन्होंने कहा कि मेरा मानना ​​है कि एक ऐसा विनिर्माण संयंत्र, जो दोषपूर्ण उत्पाद नहीं बनाता, वही भविष्य में सबसे अधिक मुनाफा उत्पन्न करने में सक्षम होता है। उन्होंने कहा हम सुजुकी की ऐसी स्मार्ट फैक्ट्री स्थापित करना चाहते हैं, जो मानव श्रम पर भरोसा किए बिना लगातार गुणवत्तापूर्ण उत्पादन करे। इस फैक्ट्री में हमारे इंजीनियर उन्नत सेंसर निगरानी के माध्यम से कोई समस्या पैदा होने के पहले ही समस्याओं का पता लगाने में सक्षम हों। सुजुकी ने कहा हम ऊर्जा का प्रभावी तरीके से उपयोग कर रहे हैं। हमारा जोर उच्च ऊर्जा-कुशल विनिर्माण को बढ़ावा देने पर है। उन्होंने कहा कि हम अपनी विकास रणनीति के तहत उन स्टार्टअप कंपनियों के साथ भी सहयोग करेंगे, जो वर्तमान में कठिनाई में हैं।

तोशीहिरो सूजुकी ने कहा हम ऐसे स्टार्टअप्स के साथ मजबूत साझेदारी कायम करने के लिए उनसे सीधे मुलाकात करना चाहते हैं। हमारा अगला कदम साझा लक्ष्यों को रेखांकित करना, एक-दूसरे की क्षमताओं को प्रोत्साहित करना और उन्हें सुजुकी प्रशंसक बनाना है। इस लक्ष्य को प्राप्त करने में भारत महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। मारुति सुजुकी की नजर 50% बाजार हिस्सेदारी हासिल करने पर है। इसके साथ ही गतिशीलता उत्पादन और उत्पादन संरचना के विस्तार के लिए नई तकनीक में निवेश करने की आवश्यकता है। इसके साथ ही मानव संसाधन के विकास में भी निवेश की जरूरत है। तोशीहिरो सूजुकी ने कहा हम 2030 के दृष्टिकोण को वास्तविक बनाने के लिए भारत की ताकत पर दांव लगा रहे हैं।

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